उज्जैन: कान्ह नदी का दूषित जल क्षिप्रा से खाली करने के बाद नर्मदा का पानी आउटलेट से छोड़े जाने का कार्य प्रारंभ किया गया। गऊघाट पर पानी का स्टोरेज किया जा कर पेयजल आपूर्ति निर्बाध रूप से की जा सकेगी।
पीएचई के कार्यपालन यंत्री श्री एन.के. भास्कर द्वारा जानकारी देते हुए बताया गया कि कान्ह का पानी खाली करने के बाद क्षिप्रा नदी में 2.2 एमसीएम मिलियन क्यूबिक मीटर नर्मदा जल छोड़ा जा रहा है जिससे घाटों पर पानी का लेवल भी पूर्ण कर लिया जाएगा साथ ही गऊघाट पर पानी का स्टोरेज किया जा रहा है जिससे पानी की आपूर्ति भी निर्बाध रूप से की जा सकेगी एवं सभी टंकियां अपनी क्षमता के अनुरूप भरी जा सकेगी जिससे पेयजल की समस्या का भी समाधान हो सकेगा।