उज्जैन: हमने शहर के विकास को ही केन्द्र बिन्दु मानकर यह बजट तैयार किया है, इसका प्रमाण यह है, कि मेने स्वयं ने अपनी निधि में दो करोड़ सत्तर लाख रुपये की कमी कर यह राशि शहर के समस्त 54 पार्षदों को बिना किसी भेदभाव के समान रूप से पार्षद मद में आवंटित किये जाने की बजट में अनुशंसा की हैं।
यह बात महापौर श्री मुकेश टटवाल ने शुक्रवार को नगर निगम सभापति श्रीमती कलावती यादव की अध्यक्षता में हुए नगर निगम सम्मिलन में कही। महापौर मुकेश टटवाल द्वारा सदन में वित्तीय वर्ष 2023-24 का 856 करोड 15 लाख 80 हजार का बजट प्रस्ताव रखा गया।
महापौर श्री टटवाल ने अपने उदबोधन में कहां कि भूतभावन बाबा महाकाल को साक्षी मान कर मैं उज्जैन की धर्मप्राण जनता के प्रतिनिधि के रूप मे अपने सेवाकाल का यह प्रथम बजट सदन के समक्ष प्रस्तुत कर रहा हूॅ। अभी तक के लगभग छः माह के कार्यकाल में आप सभी के सहयोग से उज्जैन शहर में हमने जनहित के अनेक उल्लेखनीय कार्य किये है, जिनमें महापौर चौपाल, महापौर पंचायत, नगर निगम की गेर जैसे अनेक नवाचार किये है, जिनकी नगरवासियों द्वारा मुक्त कण्ठ से प्रशंसा की गई साथ ही नागरिकों को मूलभूत सुविधा उपलब्ध कराने के लिए अनेक कार्य योजना क्रियाशील है। वर्तमान बोर्ड के कार्यकाल में ही स्वच्छता सर्वेक्षण 2022-23 में नागरिक फीड बेक में उज्जैन शहर को देश में प्रथम स्थान प्राप्त हुआ, इसी के साथ महाशिवरात्रि पर्व पर निगम द्वारा माँ क्षिप्रा के पावन तट पर शिवज्योति अर्पणम् कार्यक्रम आयोजित किया गया जिसमें एक स्थान पर दीप प्रज्वलित किये जाने का विश्वकीर्तिमान रचा गया जिससे उज्जैन शहर गौरवांवित हुआ यह बोर्ड की विशेष उपलब्धि है।
महापौर श्री टटवाल ने कहां कि बजट वर्ष 2023-24 को तैयार करने के पूर्व हमने एक अभिनव प्रयोग करते हुए समाज के सभी वर्गो के अनुभवी एवं जागरूक प्रतिनिधियों से सुझाव आमंत्रित कर उपयोगी सुझाव को इसमे समावेश करने का प्रयास किया है एवं उज्जैन की जनता के आर्थिक हितों का ध्यान रखते हुए हमने इस बजट मे ऐसा कोई कर प्रस्तावित नही किया है, बल्कि नगरवासियों को अनेक सौगाते देने का बजट में प्रावधान किया गया है।
महापौर श्री टटवाल ने बताया कि नगर निगम की वर्तमान वित्तिय स्थिति को सुदृढ करने के उद्देश्य से नगर निगम के वर्तमान वित्तीय संसाधनों का अधिक से अधिक दोहन कर निगम की आय बढ़ाने की कार्य योजना तैयार की जाकर बकाया सम्पत्तिकर, जलकर वसूली के लिए विशेष वसूली अभियान संचालित किया गया जिसके परिणाम स्वरूप सम्पत्तिकर एवं जलकर वसूली में राज्य शासन के प्रमुख सचिव द्वारा विडियों कॉफ्रेंस में 5 लाख से अधिक आबादी वाले शहरों में उज्जैन नगर निगम को प्रथम स्थान घोषित किया। इसके अतिरिक्त निगम के 11 वर्षो के इतिहास में प्रथम बार बाजार वसूली 150 लाख के लक्ष्य से 45 लाख रूपये से अधिक की हुई है।
निगम द्वारा प्रथम बार कार्तिक मेले की दुकानों का आवंटन ई-टेंडर के माध्यम से कराया गया जिसके परिणाम स्वरूप निगम को विगत कार्तिक मेले की आय की तुलना में लगभग 50 लाख की अतिरिक्त आय हुई हैं कार्तिक मेले से होने वाली आय शहर एंव आस पास के रहवासियों के स्वस्थ मनोरंजन व व्यापार को दृष्टिगत रखते हुए कार्तिक मेले के अतिरिक्त एक और मेला महाशिवरात्रि पर्व से गुड़ीपड़वा पर्व तक 1 माह का मेला आयोजित करने वाले हैं जिसका विशेष पहलू यह हैं, कि उक्त मेले के आयोजन में निगम का कोई व्यय नहीं होगा बल्कि आय प्राप्त होगी।
निगम स्वामित्व के निर्मित काम्पलेक्सों की दुकानों आदि के आवंटन की कार्यवाही प्रचलित हैं, जिससे भी निगम को लगभग 25 करोड़ की आय भी प्राप्त होना संभावित है, तथा बजट में आय हेतु विभिन्न मदों में वास्तविक आय का आंकलन कर उन मदों में यथायोग्य वृद्धि की जाने के साथ साथ माननीय सदन के समक्ष आय के विभिन्न प्रस्ताव भी प्रस्तुत किये गए।
शहर में आने वाले श्रृद्धालुओं की सुविधा को दृष्टिगत रखते हुए नवीन पार्किंग स्थलो का चयन किया जाकर पार्किंग स्थल विकसित किये जाएगे जिसके कारण श्रृद्धालुओं को सुविधा उपलब्ध होने के साथ ही निगम को भी आय प्राप्त होगी साथ ही निगम के विद्युत व्यय में कमी लाने की दृष्टि से निगम के भवन/जल यंत्रालयों पर सौलर पेनल स्थापित किये जाने की कार्य योजना बनाई गई है। हमने इस बजट में जनहित एवं नगर सौन्दर्यीकरण के लगभग 20 नये नवाचार के प्रस्ताव शामिल किये गए है, इसके साथ ही हम नित नये नवाचार के प्रयोग कर रहे है, जिससे नगर वासियों को लाभ मिल रहा है। इय बजट को तैयार करते समय हमने सभी वर्ग के लोगों का ध्यान रखने का पूरा प्रयास किया है। इस बजट के लागू होने के बाद निश्चित रूप से उज्जैन के विकास और सौन्दर्यीकरण के नये अध्याय का श्री गणेश होगा।