उज्जैन, पत्रकार वार्ता को सम्बोधित करते हुए विनोद जी शर्मा एवम जसविंदर सिंह जी ठकराल ने बताया की आप सभी को और आप सभी के द्वारा हम सभी को विदित है की भारत के पड़ोसी देश बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिन्दूओं के साथ बर्बरता अमानवता हो रही है। बांग्लादेश के सभी अल्पसंख्यक के साथ सारे भारतवासी एवंम सम्पूर्ण विश्व के हिन्दू उनके इस दुःख की घड़ी में साथ खड़ा है। इसी क्रम में भारत के महामहिम राष्ट्रपति महोदय के नाम सकल हिंदू समाज द्वारा 04 दिसंबर को एक ज्ञापन दिया जाएगा। इसके पूर्व सामाजिक न्याय परिसर से अपरांह 3 बजे एक विशाल सवेदना युक्त आक्रोश रैली निकलेगी। जो फ्रीगंज ओव्हरब्रीज, फ्रीगंज होकर शहीद पार्क पहुंचेगी। यहां महामहिम राष्ट्रपति महोदय के नाम एक ज्ञापन कलेक्टर को दिया जाएगा।
इस आक्रोश रैली में उज्जैन जिले के गावो, बस्तियों के मौहल्लों से, प्रत्येक घर से एक-एक दम्पत्ति ने निकलने की बात की है। इसीप्रकार उज्जैन विभाग अन्तर्गत करीब 1000 गांवों के निवासी भी इस रैली में शामिल होने के लिए अपने-अपने साधनों से उज्जैन पहुंचेंगे। इस प्रकार इस रैली में 50 हजार से अधिक हिंदू समाज जन शामिल होंगे। ये सभी आक्रोश रैली में अनुशासन के साथ शामिल होकर विश्व को संदेश देंगे कि बांग्लादेश में जिसप्रकार से हिंदुओं के खिलाफ सोची समझी साजीश, राणनिति के अंतर्गत अत्याचार हो रहे हैं, उसे भारतवासी सहन नहीं करेंगे। बांग्लादेश भी अब पाकिस्तान की राह पर हिंदुओं के साथ आतंकी जिहादी व्यवहार अपना रहा है। सत्ता परिवर्तन के प्रयास बांग्लादेश को इस्लामी जिहाद की ओर निरंतर बढ़ाने के लिए प्रेरित कर रहे हैं। मंदिरों को तोड़ा जा रहा है। हिंदू बहन बेटियों के साथ अत्याचार, बलात्कार व अपहरण की घटनाएं निरंतर हो रही है। हिंदू समाज की आस्था के धार्मिक स्थलों को तोड़ा जा रहा है। संत समाज को जेल में डालने का कार्य बांग्लादेश की सरकार कर रही है। इस्कॉन के संत व हिंदू मंदिरों के पुजारी को प्रताड़ित करने का काम व उन्हें जेल में डालने का निंदनीय कार्य बांग्लादेश की कार्यवाहक सरकार के द्वारा निरंतर हो रहा है। भारत सरकार से मांग की जाएगी कि वह अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर इस बात को उठाए बांग्लादेश सरकार एसी व्यवस्था करे कि वहा का अल्पसंख्यक समुदाय स्वाभिमान और सम्मान से जीवन व्यापन करे ।
समस्त उज्जैन जिले वासियों से आग्रह है की बांग्लादेश के इस जिहादी स्वरुप को विश्व के पटल पर लाने के लिए एवंम विश्व के मानव अधिकार संस्थाओं का ध्यान आकर्षित करने हेतु उपरोक्त कार्यक्रम में सहभागिता सुनिश्चित करे जिससे विश्व का कल्याण होगा ।