ज्योतिष वास्तु सम्मेलन में हुआ देश के ख्यात 400 से ज्यादा विद्वत जनों का समागम

उज्जैन। भारतीय ज्योतिष परंपरा सनातन काल से चली आ रही है, अंकगणित का गुणा भाग करने में हमारे पूर्वज सर्वश्रेष्ठ थे जिन्होंने चांद तारों के साथ संपूर्ण सौरमंडल की गणना की थी। परिवार की सुख समृद्धि के लिए माता पत्नी व कन्या का सम्मान करें। श्रेष्ठ विचारो का जीवन मे अनुसरण करेंगे तो ग्रह बैलेंस रहेंगे।
यह विचार मां शारदा ज्योतिष धाम अनुसंधान संस्थान के द्वारा आयोजित भारतवर्ष के सर्वश्रेष्ठ ज्योतिषियों , वास्तुविदों एवं विद्वत जनों की उपस्थिति में अतिथियों के द्वारा व्यक्त किए गए। आयोजक पंडित दिनेश गुरुजी, अध्यक्षता कर रहे पूर्व राज्य मंत्री दर्जा मध्य प्रदेश सरकार राष्ट्रीय अध्यक्ष विश्व ब्राह्मण समाज संघ पं योगेंद्र महंत ने बताया कि बाबा महाकाल की नगरी में राजा श्री राम होटल एवं रिसोर्ट में देशभर के विद्वजन तकरीबन 400 की संख्या में उज्जैन पधारे, दो दिनी आयोजन ऐतिहासिक रहा। रविवार को मुख्य अतिथि के तौर पर दिल्ली के लाल किताब के नाम से ख्यात जीडी वशिष्ठ और अनिल वत्स, बॉलीवुड सितारों में अपनी खासी पैठ रखने वाले मुंबई के जयप्रकाश जी, बनारस यूनिवर्सिटी में ज्योतिष विभाग के विभाग अध्यक्ष शत्रुघ्न तिवारी जी चंद्रशेखर शास्त्री जी, आदि अनेक प्रबुद्ध जनों ग्रह नक्षत्र सौरमंडल और तारों के बारे में कई भ्रांतियां को दूर किया। दीप प्रज्वलन के साथ कार्यक्रम की शुरुआत हुई अतिथियों का स्वागत कार्यक्रम संयोजक आनंद शर्मा, समन्वयक संगीता शर्मा, महिला प्रकोष्ठ अध्यक्ष डिंपल शर्मा, महासचिव शैलेंद्र व्यास, गौरव तिवारी आदी ने किया कार्यक्रम का संचालन हरेंद्र शुक्ला ने किया। इस अवसर पर विद्वतजन को विश्व गौरव सम्मान, हिंदू गौरव सम्मान, लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड आदि अनेक तरह के पुरस्कारों से सम्मानित किया गया अपनी तरह के इस अनोखे ज्योतिष वास्तु एवं आयुर्वेद के विद्वानों के समागम में कई प्रकार की नई परिभाषाएं को परिष्कृत भी किया

सेल्फी वालों का ताता
आयोजन में देशभर के दिल्ली महाराष्ट्र पंजाब गुजरात राजस्थान उड़ीसा कर्नाटक आदि राज्यों के ख्यात ज्योतिषाचार्य के साथ फोटो खींचने और सेल्फी लेने वालों का ताता लगारहा, लोग बड़ी ही कुशलता और सम्मान आदर सत्कार के साथ विद्वत जनों का आशीर्वाद भी ले रहे थे।

— ससुराल वालों से संबंध अच्छे रहेंगे तो राहु श्रेष्ठ फल देगा
संगोष्ठी के दौरान ख्यात ज्योतिषाचार्य ने यह कहा कि हम अपने परिवार में मधुर संबंध रखेंगे तो ग्रह बैलेंस रहेंगे माता, पत्नी व कन्या से मधुर संबंध शनि मंगल और राहु को बैलेंस करते हैं। राहु को अच्छा रखने के लिए ससुराल पक्ष से मधुर संबंध रखना जरूरी है।

— जिस घर में नारी के आंसू और प्रताड़ना होती है वहां पर ग्रह दोष और वास्तु दोष भी हो ही जाते हैं।

—ढाई अक्षर प्रेम का पड़े तो ज्ञानी होय प्रेम और विश्वास के साथ जीवन को आगे बढ़ाएंगे तो दुख तकलीफ से बचेंगे।

– नारी में शुक्र का वास हैं, प्रत्येक नारी का सम्मान करें शुक्र मजबूत होगा तो धन धान और सुख समृद्धि में वृद्धि होगी
— किसी के मार्ग में बाधा ना बने,सभी के लिए खुशियों को कामना करेंगे तो राहु मंगल ठीक रहेगा

– 24 घंटे में 2 घंटे शरीर को दीजिए, स्वस्थ शरीर से भी अनेक बढ़ाएं दूर होती हैं। और ग्रह भी बैलेंस रहते हैं।
* जीवन में लोगों की मदद और देने का भाव रखेंगे तो किसी प्रकार की कमी आपके जीवन में कभी नहीं आएगी।
सिंगल चाइल्ड …..सिंगल पेरेंट

* सूर्य चंद्र को बैलेंस रखने के लिए माता-पिता का होना जरूरी है आज के दौर में सिंगल पैरंट्स बहुत ही परेशानी का कारण आगे जाकर बनेंगे । यह प्रथा हमारी संस्कृति में निषेध है। जब जन्म देने वाले पिता ही नहीं होंगे तो सूर्य कैसे मजबूत करेंगे। या जब एक अकेला पुरुष ही बच्चा उत्पन्न करेगा ऐसे में माता नहीं रहेगी तो चंद्र को कैसे ठीक रख पाएंगे।