महाशिवरात्रि पर शिव-पार्वती की भव्य बारात, श्रद्धा और उल्लास का अद्भुत संगम

उज्जैन। महाशिवरात्रि पर्व के पावन अवसर पर स्वाति विहार स्थित प्राचीन महादेव मंदिर से भगवान शिव और माता पार्वती की भव्य बारात निकाली गई, जिसमें श्रद्धालुओं की अपार भीड़ उमड़ी। बैंड-बाजों, ढोल-नगाड़ों और शंखनाद के साथ निकली इस बारात में भक्तों का उत्साह देखते ही बन रहा था। शिव पार्वती की सजीव झांकी ने श्रद्धालुओं को भावविभोर कर दिया।

बारात का स्वागत स्वाति विहार, अथर्व विहार और अथर्व एन्क्लेव के निवासियों ने हर्षोल्लास के साथ किया। जगह-जगह श्रद्धालुओं ने बारात का भव्य स्वागत किया, आरती-पूजन किया और पुष्प वर्षा कर भगवान शिव का अभिनंदन किया। धर्म और संस्कृति का ऐसा अनूठा दृश्य पूरे क्षेत्र में आध्यात्मिक ऊर्जा का संचार कर रहा था।

शिव रूप में शुभी माथुर और माता पार्वती के रूप में नेहल सोमानी ने अपने मनमोहक स्वरूप से श्रद्धालुओं को आलौकित किया। देव स्वरूप में प्रस्तुत अन्य कलाकारों ने भी सभी को मंत्रमुग्ध कर दिया। झांकी में भगवान शिव का सजीव रूप देख भक्तों की आंखें श्रद्धा से झुक गईं।

महादेव मंदिर परिसर में महाआरती का आयोजन किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने भाग लिया। महाआरती के पश्चात छप्पन भोग के महाप्रसाद का वितरण किया गया, जिसमें सभी ने प्रसाद ग्रहण कर पुण्य लाभ अर्जित किया।

आयोजन में मंदिर समिति और स्थानीय निवासियों का महत्वपूर्ण योगदान रहा। समिति के सदस्यों ने श्रद्धालुओं की सुविधाओं का विशेष ध्यान रखा और आयोजन को सफल बनाने में जी-जान से जुटे रहे।

जानकारी देते हुए विनीत माथुर ने बताया कि महाशिवरात्रि पर्व पर हर वर्ष इसी प्रकार का आयोजन किया जाता है, जिसमें क्षेत्र के सभी निवासी और श्रद्धालु बढ़-चढ़कर भाग लेते हैं। उन्होंने इस आयोजन को सफल बनाने के लिए सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया और भविष्य में भी ऐसे धार्मिक आयोजनों की निरंतरता बनाए रखने का संकल्प लिया।

श्रद्धालुओं के लिए विशेष व्यवस्था

आयोजन स्थल पर भक्तों की भारी भीड़ को देखते हुए सुरक्षा और व्यवस्था के विशेष इंतजाम किए गए थे। स्वयंसेवकों की टीम ने श्रद्धालुओं का मार्गदर्शन किया और जलपान सुविधा भी उपलब्ध कराई गई।

धर्म और संस्कृति का संदेश

महाशिवरात्रि पर्व का यह आयोजन न केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक है, बल्कि यह समाज में सांस्कृतिक और आध्यात्मिक मूल्यों के प्रसार का भी माध्यम बनता है। भगवान शिव की बारात में शामिल होकर श्रद्धालुओं ने न केवल भक्ति का अनुभव किया, बल्कि आपसी भाईचारे और सौहार्द का भी संदेश दिया।

इस प्रकार महाशिवरात्रि का यह पर्व सभी के जीवन में शुभता, सुख, समृद्धि और शांति का संचार करता हुआ, भगवान शिव की अनंत कृपा का अनुभव कराता है।