उज्जैन, नगर निगम के राजस्व में वृद्धि करना है तो ऐसी संपतिया जिनके खाते संपत्ति कर रिकॉर्ड में दर्ज नहीं है उन्हें सजगता दिखाते हुए खातों में जोड़ना है ताकि संपत्ति कर लक्ष्य अनुरूप वसूला जा सके, संपत्ति कर नामांतरण प्रक्रिया में जनता को परेशानी ना हो इसके लिए जो समय निर्धारित है उस समय अवधि में नामांतरण हो जाना चाहिए साथ ही ऐसी घरेलू संपत्तिया जिनका उपयोग व्यावसायिक रूप से हो रहा है उनसे व्यवसायिक की दर से संपत्ति कर वसूला जाए कोई भी संपत्ति छुटनी नहीं चाहिए उक्त निर्देश नगर निगम आयुक्त श्री अभिलाष मिश्रा द्वारा शुक्रवार को संपत्ति कर विभाग की समीक्षा बैठक में उपस्थित संपत्ति कर विभाग के अधिकारियों को दिए गए।
निगम आयुक्त श्री अभिलाष मिश्रा द्वारा बैठक में निर्देशित किया गया कि आगामी 13 सितंबर को आयोजित नेशनल लोक अदालत में ज्यादा से ज्यादा संपत्ति कर वसूली हेतु बड़े बकायदाओं को बिल जारी किए जाए इसके लिए सभी संपत्ति कर अधिकारी अपने लक्ष्य निर्धारित करें, पिछले वर्ष के संपत्ति कर की जो बकाया वसूली राशि है उसकी वसूली की जानी है ऐसे प्रकरणों को तैयार कर संबंधितों को नोटिस जारी करें और यदि बकाया राशि ना दे तो कुर्की की कार्रवाई करें, संपत्ति कर विभाग के कर्मचरियों का परिचय पत्र होना चाहिए ताकि फील्ड में वसूली के लिए जाए तो कर्मचारियों की पहचान आसानी से हो सके एवं संपत्ति कर की जानकारी ले सकें, पीओएस मशीन के माध्यम से ऑनलाइन रसीदें ज्यादा से ज्यादा काटी जानी चाहिए।
बैठक में अपर आयुक्त श्री पवन कुमार सिंह, सहायक आयुक्त श्री घनश्याम मचार, संपत्ति कर अधिकारी श्री सुनील जैन, समस्त जोन के संपत्ति कर अधिकारी एवं बिल वितरक उपस्थित रहे।